28/06/2025
तीन समस्याएं बहुत बढ़ रही हैं:
1. आदमी के पास काम नहीं है.
2. काम के लिए आदमी नहीं मिल रहे.
3. काम के लिए रखे हुए आदमी किसी काम के नहीं।
इसे तीन सिरों वाले संकट के रूप में वर्णित किया जा सकता है, लेकिन यह एक अवसर भी है कि हम अपनी शिक्षा, रोजगार और संतुष्टि प्रणाली को मजबूत बनाएं। समस्या केवल रोजगार तक ही सीमित नहीं है, बल्कि मानव संसाधन, कौशल और संतुष्टि के बीच एक असंतुलन है जिसे हम सुधार सकते हैं। जीडीपी बढ़ रही है, लेकिन रोजगार में वृद्धि के लिए हमें अपनी शिक्षा प्रणाली में सुधार करना होगा। किताबी ज्ञान के साथ-साथ व्यावहारिक कौशल को भी महत्व देना होगा। नौकरी देने वालों को तैयार प्रतिभा चाहिए, और हमें अपने युवाओं को ऐसी शिक्षा देनी होगी जो उन्हें नौकरी के लिए तैयार बनाए। क्या हम अपनी शिक्षा प्रणाली को मजबूत बनाकर और अपने युवाओं को व्यावहारिक कौशल देकर इस संकट को अवसर में बदल सकते हैं?
हमें अपने दृष्टिकोण को बदलना होगा और अपनी समस्याओं का समाधान खोजना होगा। हमें अपने युवाओं को यह सिखाना होगा कि सफलता के लिए कड़ी मेहनत और धैर्य की आवश्यकता होती है। भारत में स्किल गैप एक बड़ी समस्या है, लेकिन हम इसे दूर कर सकते हैं अगर हम अपनी शिक्षा प्रणाली में सुधार करें और अपने युवाओं को व्यावहारिक कौशल दें। यह संकट तभी दूर होगा जब शिक्षा, रोजगार और संतुष्टि के बीच सामंजस्य बनेगा। वरना, हम सब नौकरी है तो खुश नहीं, नौकरी नहीं तो परेशान के ट्रैप में फंसे रह जाएंगे।
*हमारे साथ इस आंदोलन में शामिल हों . . .*
*अब्दुलराजाक एम. जलाल*
- यूनाइटेड वर्ल्ड 'पीस' के राजदूत
ग्रेस
- ऑफ ग्लोरी के प्राप्तकर्ता
- ग्लोबल पैनल सलाहकार - न्यूएज वर्ल्ड मीडिया
- संस्थापक और निदेशक *नेशन फर्स्ट*
पुणे, महाराष्ट्र
+९१८७९३५८३१३४
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